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जब बॉलीवुड की क्वीन और बीजेपी सांसद कंगना रनौत सोशल मीडिया पर उतरती हैं, तो सिर्फ तस्वीरें नहीं, तूफ

Editor : Anjali Mishra | 17 May, 2025

कंगना ने ट्रंप की तुलना प्रधानमंत्री मोदी से कुछ ऐसे अंदाज़ में की कि सोशल मीडिया पर हंगामा तो मचा ही, लेकिन पार्टी ने Damage Control मोड ऑन कर दिया।

जब बॉलीवुड की क्वीन और बीजेपी सांसद कंगना रनौत सोशल मीडिया पर उतरती हैं, तो सिर्फ तस्वीरें नहीं, तूफ

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जब बॉलीवुड की क्वीन और बीजेपी सांसद कंगना रनौत सोशल मीडिया पर उतरती हैं, तो सिर्फ तस्वीरें नहीं, तूफान भी लेकर आती हैं।इस बार उन्होंने निशाना साधा अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप पर और बात इतनी बढ़ गई कि बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा को खुद फोन उठाना पड़ा।

एक ट्वीट कुछ तीखे शब्द और पार्टी के भीतर मच गया कूटनीतिक कोलाहल। कंगना ने ट्रंप की तुलना प्रधानमंत्री मोदी से कुछ ऐसे अंदाज़ में की कि सोशल मीडिया पर हंगामा तो मचा ही, लेकिन पार्टी ने Damage Control मोड ऑन कर दिया।

क्या कंगना के बोल पार्टी लाइन से बाहर जाते दिखे? क्या ये सिर्फ उनका बेबाक अंदाज़ था या एक राजनीतिक गलती?


कंगना की राजनीति में एंट्री के बाद से ही बनी हुई है।कंगना रनौत जब से राजनीति में आई हैं, तब से ही उनके बयानों ने पार्टी को असहज करने का काम किया है। लोकसभा चुनाव 2024 में बीजेपी ने उन्हें मंडी से टिकट देकर बड़ा दांव खेला, जो सफल भी रहा। परन्तु कंगना का राजनीतिक अवतार, उनके फिल्मी अवतार जितना ही उग्र और बेबाक है और यही वजह है कि पार्टी को बार-बार उनके बयानों पर सफाई देनी पड़ रही है।

ट्रंप पर बयान: क्या ये सिर्फ भावनात्मक था या रणनीतिक चूक?

कंगना का यह पोस्ट सिर्फ एक भावनात्मक प्रतिक्रिया थी या कोई गहरी राजनीतिक चाल यह कहना मुश्किल है। लेकिन यह साफ है कि उनके बयान की टाइमिंग और भाषा, दोनों ने ही पार्टी की कूटनीतिक छवि को नुकसान पहुंचाने का खतरा पैदा कर दिया था। अमेरिका और भारत के बीच व्यापारिक रिश्ते इस समय संवेदनशील दौर में हैं, ऐसे में ट्रंप पर सार्वजनिक कटाक्ष पार्टी के लिए मुश्किल बन सकता था।

बीजेपी सांसद और बॉलीवुड की बेबाक क्वीन कंगना रनौत एक बार फिर सुर्खियों में हैं और इस बार निशाने पर थे अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप!

15 मई की दोपहर ट्रंप ने एप्पल के CEO टिम कुक को भारत में iPhone प्रोडक्शन को लेकर फटकार लगाई, और फिर क्या था कंगना का गुस्सा सातवें आसमान पर पहुंच गया।


उन्होंने X (पूर्व में ट्विटर) पर एक ऐसा पोस्ट ठोक दिया, जिसमें उन्होंने ट्रंप की तुलना प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से कर डाली और वो भी "अल्फा मेल" की कैटेगरी में!


कंगना ने लिखा:

इस प्यार के खत्म होने की वजह क्या हो सकती है?

वो अमेरिकी राष्ट्रपति हैं, लेकिन दुनिया के सबसे पसंदीदा नेता हमारे प्रधानमंत्री हैं।

ट्रंप का दूसरा टर्म है, लेकिन हमारे पीएम का तीसरा चल रहा है।

ट्रंप एक 'अल्फा मेल' हैं, लेकिन हमारे पीएम तो सभी अल्फा मेल के बाप हैं।

आपको क्या लगता है? ये पर्सनल जलन है या कूटनीतिक असुरक्षा?


कंगना की पोस्ट ने सोशल मीडिया पर हलचल मचा दी। लेकिन उनकी अपनी पार्टी बीजेपी को यह अंदाज़ कुछ ज़्यादा ही तीखा लगा।

कंगना का यह पोस्ट सिर्फ एक भावनात्मक प्रतिक्रिया थी या कोई गहरी राजनीतिक चाल यह कहना मुश्किल है। लेकिन यह साफ है कि उनके बयान की टाइमिंग और भाषा, दोनों ने ही पार्टी की कूटनीतिक छवि को नुकसान पहुंचाने का खतरा पैदा कर दिया था। अमेरिका और भारत के बीच व्यापारिक रिश्ते इस समय संवेदनशील दौर में हैं, ऐसे में ट्रंप पर सार्वजनिक कटाक्ष पार्टी के लिए मुश्किल बन सकता था।

बीजेपी नेतृत्व का इस तरह सीधे फोन कर ट्वीट हटवाना यह भी दर्शाता है कि पार्टी अपने नेताओं पर नियंत्रण रखने को लेकर कितनी सतर्क है| खासकर उन नेताओं पर जो सोशल मीडिया पर अत्यधिक सक्रिय और प्रभावशाली हैं। कंगना की लोकप्रियता और प्रभाव को पार्टी नजरअंदाज नहीं कर सकती, लेकिन साथ ही उनके बयानों की फ्रीक्वेंसी और तेवर पार्टी की रणनीति से मेल नहीं खाते।


कंगना ने खुद खुलासा किया कि बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने उन्हें कॉल किया और ट्रंप पर किए गए ट्वीट को हटाने की सलाह दी।

इसके तुरंत बाद कंगना ने एक और पोस्ट किया:


"राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने मुझे फोन किया और कहा कि मैं वह ट्वीट डिलीट कर दूं जिसमें मैंने ट्रंप और टिम कुक की बातचीत का ज़िक्र किया था।

मुझे खेद है कि मैंने अपनी निजी राय साझा कर दी। मैंने निर्देश अनुसार तुरंत उसे हटा दिया।"


जहां एक तरफ कई सोशल मीडिया यूज़र्स ने कंगना के बयान को “देशभक्ति” करार दिया, वहीं दूसरी ओर कुछ लोगों ने इसे "बचकानी तुलना" कहा। ट्विटर और इंस्टाग्राम पर यूज़र्स के बीच बहस छिड़ गई कि क्या एक सांसद को इस तरह की भाषा में बात करनी चाहिए? कुछ ने कहा कि कंगना को राजनीति की ज़ुबान समझनी चाहिए, तो कुछ ने उनका समर्थन करते हुए कहा कि वह जो कहती हैं, साफ और सच कहती हैं।कंगना का सोशल मीडिया पर बयान देना और फिर बीजेपी की ओर से उस पर कार्रवाई करना अब कोई नई बात नहीं रही। लेकिन इस बार मामला अंतरराष्ट्रीय नेता से जुड़ा था, और पार्टी ने फौरन damage control कर लिया।


ट्रंप ने ऐसा क्या कहा था जिससे बिफर गईं कंगना?

दरअसल, डॉनल्ड ट्रंप ने एक बिजनेस इवेंट में एप्पल के CEO टिम कुक से कहा:


मैंने कहा मेरे दोस्त, मैं तुम्हारा बहुत ख्याल रख रहा हूं। तुम भारत में हर जगह प्रोडक्शन कर रहे हो, लेकिन मैं नहीं चाहता कि तुम भारत में मैन्युफैक्चरिंग करो।

भारत दुनिया के सबसे ज्यादा टैरिफ लगाने वाले देशों में से एक है, वहां कुछ बेचना बहुत मुश्किल है।"


बस फिर क्या था कंगना को ये बयान देश के अपमान जैसा लगा और उन्होंने ट्रंप की कूटनीति पर ही सवाल खड़े कर दिए। लेकिन इस बार उनकी कूटनीतिक टिप्पणी खुद उनकी पार्टी को हज़म नहीं हुई।


अब बड़ा सवाल यह है कि क्या कंगना इस घटना से सबक लेंगी और अपनी सोशल मीडिया रणनीति में बदलाव करेंगी? या फिर वही तेज़-तर्रार अंदाज़ जारी रहेगा, जो उन्हें फॉलोअर्स के बीच लोकप्रिय बनाता है, लेकिन पार्टी को असहज करता है? आने वाले समय में कंगना की भूमिका सिर्फ एक सांसद तक सीमित रहेगी या वह बीजेपी के बड़े चेहरों में शामिल होंगी यह उनके बयानों और पार्टी की सहनशीलता पर निर्भर करेगा।

अब देखने वाली बात ये होगी कि कंगना अगली बार किस मुद्दे पर अपनी राय रखेंगी और पार्टी उसे कितना 'फ्री स्पेस' देगी।